सिफरी द्वारा पाँच हजार मछली को संरक्षण के लिए गंगा नदी में छोड़ा गया
प्रयागराज, 20 अक्टूबर, 2022
गंगा नदी में विलुप्त हो रहे मत्स्य प्रजातियों के संरक्षण एवम् संवर्धन को ध्यान में रखते हुए, भारतीय कृशि अनुसंधान परिशद्-केन्द्रीय अन्तर्स्थलीय मात्स्यिकी अनुसंधान संस्थान (सिफरी), प्रयागराज द्दिनांक 20 अक्टूबर 2022 को, पवित्र पावनी गंगा तट पर अस्सी घाट, वाराणसी में गंगा नदी में 5000 ( पाँच हजार) भारतीय प्रमुख कार्प-कतला, रोहू, मृगल मछलियों के बीज को रैंचिंग कार्यक्रम के तहत छोड़ा गया। राश्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिषन (एनएमसीजी) के अन्तर्गत आयोजित यह कार्यक्रम श्री जी अषोक कुमार, महानिदेषक, राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिषन, जल षक्ति मंत्रालय, भारत सरकार, के गरिमामय उपस्थित में सम्पन्न हुआ । रैंचिंग कार्यक्रम के पश्चात महानिदेषक महोदय ने गंगा की आरती और स्वच्छता अभियान में सहभागिता किया। इस अवसर पर स्ंास्थान के केन्द्राध्यक्ष डा० डी एन झा ने गंगा नदी में मछली और रैंचिंग के महत्व के बारे में जानकारी दी। कार्यक्रम में राज्य राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिषन-उत्तर प्रदेष, वन विभागा-उत्तर प्रदेष, गंगा विचार मंच, गंगा टास्क फोस, सिफरी-प्रयागराज आदि के अधिकारीगण, स्नानार्थी तथा गंगा तट पर रहने वाले स्थानीय लागों ने भाग लिया।